नयी दिल्ली। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने काहिरा में मिस्र के रक्षा मंत्री जनरल मोहम्मद ज़की के साथ द्विपक्षीय बातचीत की और रक्षा संबंधों को मजबूत बनाने पर सहमति व्यक्त की। श्री सिंह मिस्र की दो दिन की यात्रा पर गये हैं। सोमवार को द्विपक्षीय बातचीत शुरू होने के पहले काहिरा स्थित रक्षा मंत्रालय में श्री सिंह को पारंपरिक सलामी गारद पेश की गई। बैठक के दौरान दोनों पक्षों ने रक्षा सम्बंधों को मजबूत बनाने की दिशा में संयुक्त सैन्याभ्यास बढ़ाने और प्रशिक्षण, खासतौर से उग्रवाद विरोधी गतिविधियों के क्षेत्र में प्रशिक्षण के लिये लिये सैन्यकर्मियों के आदान-प्रदान पर सहमति व्यक्त की। दोनों मंत्रियों ने भारत और मिस्र के रक्षा उद्योगों के बीच निर्दिष्ट समयावधि में सहयोग बढ़ाने के लिये प्रस्तावों पर गौर करने पर भी सहमति जताई। उन्होंने क्षेत्रीय सुरक्षा पर विचारों का आदान-प्रदान किया और दुनिया में शांति तथा स्थिरता कायम करने में भारत और मिस्र के योगदान को रेखांकित किया। दोनों पक्षों ने इस बात पर खुशी व्यक्त की कि कोविड-19 महामारी के बावजूद पिछले वर्षों के दौरान दोनों देशों के बीच रक्षा संपर्क और आदान-प्रदान की गति तेज रही है। मिस्र के राष्ट्रपति अब्दुल फतेह-अल-सीसी से रक्षामंत्री राजनाथ सिंह की भेंट के बाद दोनों रक्षा मंत्रियों ने द्विपक्षीय सहयोग के मामलों में सुरक्षा और रक्षा क्षेत्र में परस्पर सहयोग बढ़ाने पर सहमति व्यक्त की। उन्होंने रक्षा क्षेत्र में सहयोग के लिये समझौता-ज्ञापन पर हस्ताक्षर किये। यह समझौता-ज्ञापन आपसी हितों के सभी क्षेत्रों में रक्षा सहयोग बढ़ाने का मार्ग प्रशस्त करेगा। श्री सिंह ने भारत-अफ्रीका रक्षा संवाद और हिन्द महासागर क्षेत्र के देशों के रक्षा मंत्रियों के सम्मेलन में भाग लेने के लिये मिस्र के रक्षा मंत्री को भारत आने का न्योता दिया। इन कार्यक्रमों का आयोजन 12वीं रक्षा प्रदर्शनी ‘ डेफ-एक्सपो’ के दौरान गुजरात के गांधीनगर में 18-22 अक्टूबर के बीच किया जायेगा। मिस्र यात्रा के दौरान रक्षा मंत्री ने काहिरा में सैन्य स्मारक और काहिरा के पूर्व राष्ट्रपति अनवर-अल-सादात की कब्र पर श्रद्धांजलि अर्पित की।