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बर्ड फ्लू पक्षियों से मनुष्यों और जानवरों को भी हो सकता है, रहें सावधान, चिड़ियाघर रेड जोन घोषित

बर्ड फ्लू के बढ़ते प्रकोप को देखते हुए कानपुर चिड़ियाघर को रेड जोन घोषित कर दिया गया है। 1 किलोमीटर की परिधि में नौ टीमों को लगाया गया है। जो रहने वाले लोगों की जांच करेंगे और दवाइयां देंगे। इसके साथ ही लोगों को कोविड प्रोटोकॉल के पालन करने को भी कहा गया है। डॉक्टर राजेश्वर तिवारी ने इस संबंध में जानकारी दी। उन्होंने बताया कि कोविड-19 प्रोटोकॉल के दौरान बरती गई सावधानियां को दोहराने का समय है।‌ हाथ धोते रहे। मास्क का प्रयोग करें।

उत्तर प्रदेश के कानपुर चिड़ियाघर को रेड जोन घोषित कर दिया गया है। बर्ड फ्लू की पुष्टि होने के बाद एक किलोमीटर के दायरे में प्रशासन ने नौ टीमों को लगाया है। जिसमें डॉक्टर, फार्मासिस्ट और एलटी शामिल है। यह टीम मौके पर जाकर लोगों का निरीक्षण करेगी। बर्ड फ्लू के लक्षण देखने पर जांच की जाएगी। इसके साथ ही दवाइयां का भी वितरण किया जाएगा।

मृत पक्षियों को न छुए

बर्ड फ्लू को लेकर जू प्रशासन ने सावधान किया है। उन्होंने बताया है कि मृत पक्षियों छूने की जरूरत नहीं है। इसकी जानकारी लोकल अधिकारियों को दें। पालतू जानवरों को घर से बाहर न छोड़ें। अन्यथा स्थिति बिगड़ सकती है। घर में दवा का छिड़काव करते रहे। यदि किसी प्रकार का लक्षण दिखने पर तुरंत पशु चिकित्सालय से संपर्क करें।

क्या कहते हैं एसीएमओ?

एसीएमओ डॉक्टर राजेश्वर तिवारी ने बताया कि बर्ड फ्लू को देखते हुए सावधानी बरतने की जरूरत है। हाथ धोना बहुत ही जरूरी है। मास्क का प्रयोग करें। बर्ड फ्लू का असर पक्षियों से मनुष्य और जानवरों पर भी हो सकता है। इसलिए प्रोटोकॉल को लागू किया गया है। चिड़ियाघर को रेड जोन घोषित कर दिया गया है। चिड़ियाघर के एक किलोमीटर की परिधि में नौ टीमों को लगाया गया है। जिसमें डॉक्टर, फार्मासिस्ट सहित अन्य स्वास्थ्य कर्मी शामिल है। जो मौके पर जांच करने के साथ दवाइयां भी देंगे।

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